बिना तैयारी का लाकडाउन-लुधियाना से झांसी तक 790 किमी पैदल

बिना तैयारी का लाकडाउन-लुधियाना से झांसी तक 790 किमी पैदल
JMKTIMRS! वह अपने परिवार के साथ लुधियाना से झांसीके ( LOCKDOWN NEWS) रास्ते पर गए। जब आश्रय कहीं नहीं मिला, तो हम आकर कब्रिस्तान में रहने लगे। हमने रात यहीं बिताई और पैदल चलकर झांसी के लिए निकले। कहानी लुधियाना में काम करने वाले दो परिवारों द्वारा सुनाई गई है। थके लोग कब्रिस्तान में आराम कर रहे हैं।
परिवार से जुड़कर प्रेम बिहारी, कमकेश, शंकर, हेमलता, मालती, नेहा और रेखा लुधियाना में मजदूरी कर रहे होंगे। एक तरफ तालाबंदी है और दूसरी तरफ प्रदर्शन भी बंद है। परिवार झांसी में रहता है और वहां की स्थिति भी बेहतर नहीं है। अगर माता-पिता कहते हैं, यह चला गया है। घर आने का कोई रास्ता नहीं, दोनों परिवार पैदल ही चले। एक आदमी इसके बीच में दो बार बैठा, और वह थोड़ी दूरी के बाद चला गया। फिर मैं पैदल ही चल पड़ा।
बिना तैयारी का लाकडाउन –( LOCKDOWN NEWS)
शमशानघाट में बैठे परिवार के कुछ लोग आए थे और उन्हें खाने के लिए कुछ दिया गया था। अब यहां आज रात रुकेंगे और मंगलवार सुबह रवाना होंगे। इसी तरह गोरखपुर जाने के लिए ट्रक में कुछ लोग अंबाला-दिल्ली दिल्ली राष्ट्रीय राजमार्ग की रिविस गली में बैठे थे। ये लोग बनूड़ से गोरखपुर जा रहे हैं। नौकरी का व्यवसाय खत्म हो गया है और नकदी केवल नाममात्र की है। घर पहुंचने के बाद कम से कम वे अपने परिवार की देखभाल करते हैं।
30 जनवरी को पहला कोरोना केस भारत में मिला लेकिन तब मोदी जी ट्रम्प के स्वागत की तैयारी में जुटे थे
ट्रम्प के जाने के बाद ध्यान कोरोनावायरस की तरफ नहीं बल्कि मध्य प्रदेश की ओर गया और कांग्रेस की सरकार गिराने के लिए तैयारियां शुरू कर दी । विधायकों के खरीदने का खेल शुरू हुआ। कांग्रेस की सरकार गिराकर बीजेपी ने सरकार बनाई। अब थोड़ा ध्यान कोरोना की तरफ आया तो एक दिन का जनता कर्फ्यू ,ताली ,थाली का नाटक शुरू हुआ
रोटरी क्लब आफ झांसी द्बारा भोजन के पैकेट वितरित किए click here
लेकिन अब तक बहुत देर हो चुकी थी तो अचानक रात को आठ बजे घोषणा कर दी के आज रात 12 बजे से इक्कीस दिन का लाकडाउन भारत में होगा अचानक से चार घंटे बाद सब कुछ बंद लोगों को सोचने का मौका भी नहीं मिला जो जहां था वहीं थम गया।
सब बंद होने के बाद आज, मजदूर वर्ग पैदल ही सैकड़ों किलोमीटर का पलायन कर अपने घर जा रहा है इस दौरान काफ़ी लोगों ने अपनी जान भी गंवा दी।